फॉक्स, चार्ल्स जेम्स (१७४९-१८०६) अंग्रेज राजनीतिज्ञ। राजनीतिक कौशल इसे अपने पिता हेनरी फॉक्स से विरासत में मिला था। २० वर्ष की उम्र में वह संसद का सदस्य बना। कुछ दिन वह प्रधानमंत्री नार्थ के मंत्रिमंडल में कनिष्ठ मंत्री रहा, किंतु अमरीकी युद्ध के दौरान वह बर्क के प्रभाव में आ गया। अगले कुछ वर्षों तक वह शांति और लोकतांत्रिक सुधार आंदोलन की अगुआई करता रहा। नार्थ सरकार के पतन के पश्चात् १७८२ में राकिंघम ने इसे शेलबर्न के साथ मंत्री नियुक्त किया। किंतु सम्राट् के संवैधानिक अधिकारों के लेकर शलबर्न से उसके मतभेद बहुत बढ़ गए; और जब राकिंघम की मृत्यु के बाद सम्राट् ने शेलबर्न को प्रधान मंत्री पद के लिए चुना, फॉक्स ने त्यागपत्र दे दिया। सम्राट् के अधिकारों पर अधिक नियंत्रण के उद्देश्य से उसने नार्थ से सहयोग किया। नवंबर, १७८३ में, फॉक्स ने भारत संबंधी 'बिल' पेश किया। इसका घोर विरोध हुआ और जार्ज तृतीय ने 'हाउस ऑव लार्ड्स' के सदस्यों को कहला भेज कि जो कोई इसके पक्ष में मतदान देगा वह राजा का शत्रु समझा जाएगा। इसका परिणाम यह हुआ कि यह बिल पारित नहीं हुआ। १८०६ में पिट की मृत्यु के पश्चात् कुछ समय के लिए फॉक्स सत्तारूढ़ हुआ। उसने नेपोलियन से शांति संधि करनी चाहिए, लेकिन ऐसा नहीं हो पाया। ब्रिटेन में दासव्यापार पर पूर्ण रोक उसकी उल्लेखनीय सफलता थी। इंग्लैंड के 'लिबरल' नेताओं में फॉक्स का स्थान बहुत ऊँचा है।