हूपे मध्य चीन में तूतलिंग झील के उत्तर में स्थित एक प्रांत है। इसके उत्तर में होनान, पश्चिम में शेंसी और सचवान, दक्षिण में हूनान और कियांगसी और पूर्व में आन्हवी (Anhwei) प्रांत हैं। हूपे का क्षेत्रफल १८४३२० वर्ग किमी एवं जनसंख्या ३,०७,९०,००० (१९६०) है। हूपे प्रांत का अधिकांश भाग कांप मिट्टी द्वारा निर्मित मैदान है। इसमें यांगटीसी और हान नदियाँ बहती हैं। इनके मुहाने के निकट स्थित हांगकांग, हांयांग और वूचांग नगर मिलकर वूहान नामक विशाल नगर का निर्माण करते हैं। ये नगर सड़क एवं नदी मार्ग के गमनागमन कें केंद्र तथा मध्य चीन के प्रमुख व्यापारिक एवं औद्योगिक क्षेत्र हैं। समीप में स्थित ह्वांगशीह मध्य चीन का सबसे बड़ा लौह एवं इस्पात कारखाना है। हूपे की जलवायु महाद्वीपीय है जहाँ जाड़े में ठंढक तथा गर्मी की ऋतु गरम एवं नम होती है। धान एवं कपास गरमी की मुख्य फसलें हैं। इनके अतिरिक्त, चाय, सोयाबीन, और मक्का की खेती भी उल्लेखनीय है। जाड़े की फसलों में गेहूँ, जौ, रेमी, रेपसीड, सोयाबीन महत्वपूर्ण है। झीलों एवं नदियों से सिंचाई होती है। विशाल किंगक्यांग जलाशय द्वारा सिंचित क्षेत्र में विस्तार हुआ है। कृषि उपज को सियांगफाऊ एवं शांसी से होकर होनान एवं हूनान प्रांतों को भेजा जाता है। इस प्रांत में लौह खनिज, जिप्सम, कोयला एवं नमक भी पाया जाता है। यांगटीसी नदी एवं उत्तर से दक्षिण पेकिंग हांकाऊ कैंटन रेलमार्ग के कारण हूपे की आर्थिक समृद्धि हुई है। जनसंख्या चीनी है और मंदारिन बोली बोलती है। १६६० ई. के आसपास हूपे प्रांत का निर्माण हुआ। द्वितीय विश्वयुद्धकाल में जापान ने कुछ भाग पर, विशेषकर हांकाऊ क्षेत्र पर; अधिकार कर लिया था। १९४९ ई. से यह साम्यवादी शासन के अंतर्गत है। वूचांग इस प्रांत की राजधानी है।श् (राजेंद्र प्रसाद सिंह)