आमूर १. उत्तर पूर्वी एशिया की एक नदी तथा एक प्रदेश का नाम। इस नदी की उत्पत्ति साइबेरिया की नदी शिल्का तथा मंचूरिया की नदी अर्गुन के ५३° उ.अ. तथा १२१° पू.दे. पर मिलने से होती है। १७७० मील लंबी यह नदी सखालीन द्वीप के सामने तार्तार जलडमरूमध्य में गिरती है। अपनी २०० सहायक नदियों के साथ ७,१०,००० वर्ग मील की वर्षा को लेती हुई यह नदी विश्व की १० वीं तथा सोवियत रूस की चौथी सबसे बड़ी नदी है। चीनी इसे काली राक्षसी कहते हैं। इसके किनारे पर निराली प्राकृतिक छटावाले वन, पर्वत,घास के मैदान तथा दलदल हैं। वसंत ऋतु में हिम पिघलने के कारण आमूर में बाढ़ आ जाती है और संपूर्ण नदी नौकावहन योग्य होकर, सुदूरपूर्व सोवियत भूमि के यातायात का प्रमुख साधन बन जाती है। अनाज, नमक एवं औद्योगिक वस्तुएँ मुहाने की ओर तथा मछली एवं लकड़ी उद्गम की ओर जाती हैं। सुंगरो तथा उसूरी आमूर की मुख्य सहायक नदियाँ हैं।

२. आमूर प्रदेश की जनसंख्या सन् १९७० ई. में २०,५०,००० थी। इस प्रदेश में आमूर दलदल एवं वन्य अर्धऊसर (स्टेप) हैं। यहाँ शरद ऋतु में शीत तथा ग्रीष्म में गर्मी एवं वर्षा होती है। यहाँ के मैदान कृषि एवं चरागाहों के लिए अत्यंत उपयुक्त हैं। अनाज, सोयाबीन, सन फ्लावर तथा आलू आमूर प्रदेश के मुख्य कृषि उत्पादन हैं। सोने तथा कोयले की खुदाई, आखेट, मछली मारना तथा लकड़ी का काम, यहाँ के मुख्य उद्योग हैं। ट्रांससाइबेरियन रेलवे आमूर प्रदेश से होकर जाती है। ब्लागोवेशचेंस्क यहाँ की राजधानी हैं। (शि.मं.सिं. तथा स.प्र.गु.)